नारायणपुर, 21 जनवरी इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के अंतर्गत कृषि महाविद्यालय एवं अनुसंधान केंद्र केरलापाल, में इन्दिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय की 38वाँ स्थापना दिवस हर्षोलास से मनाया। इस कार्यक्रम में मुख्यअतिथि नारायण साहू, सामाजिक कार्यकर्ता एवं अकादमी सदस्य, जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण केन्द्र, नारायणपुर एवम विशिष्ठ अतिथि डॉ. दीबेन्दु दास कृषि विज्ञान केन्द्र, नारायणपुर और डॉ. रत्ना नशीने, अधिष्ठाता की अध्यक्षता में आयोजित किया गया। ज्ञान की देवी माँ सरस्वती, छत्तीसगढ़ महतारी और स्वामी विवेकानंद के छायाचित्र के समक्ष दीपप्रज्वलित कर कार्यक्रम की शुरवात की गई। तात्पश्चात राजकीय गीत एवं विश्विद्यालय कुलगीत का सामूहिक गायन किया गया। अधिष्ठाता डॉ. रत्ना नशीने, ने अपने उधबोधन में सभी को स्थापना दिवस की शुभकांनाए दी और कृषि महाविद्यालय रायपुर की स्थापना से लेकर विस्वविद्यालय की स्थापना और वर्तमान तक के सफर की विस्तृत जानकारी दी और महाविधलाय की प्रगति के बारे में जानकारी दी। डॉ. रत्ना नशीने, ने अपने उधबोधन पर कृषि छात्रों को कृषि के क्षेत्र में विभिन्न संभावनों की जानकारी देते हुए अपने लक्ष्य पर ध्यान केंद्रित करने को प्रेरित किया। उदबोधन के कड़ी में डॉ. दीबेन्दु दास वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं प्रमुख, कृषि विज्ञान केन्द्र, नारायणपुर द्वारा विश्विद्यालय के अधीन संचालित कृषि विज्ञान केंद्रों के संदर्भ में और उपलब्धियो के बारे में विस्तार से बताया गया। कृषि विज्ञान केन्द्र नारायणपुर की उपलब्धियो की जानकारी दी। मुख्यअतिथि नारायण साहू, सामाजिक कार्यकर्ता एवं अकादमी सदस्य ,जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण केन्द्र, नारायणपुर छात्रों को बताया की शिक्षा का लक्ष्य चरित्र निर्माण और व्यक्तित्व का सम्पूर्ण विकास है। शिक्षा का स्वरुप ऐसा होना चाहिए जो समाज और संस्कृति से जुड़ा हो। शिक्षा का उद्देश्य केवल व्यावसायिक दक्षता प्राप्त युवा शक्ति का निर्माण करना नहीं है परंतु चरित्र निर्माण और सम्पूर्ण व्यक्तित्व का निर्माण कर समाज के लिए आदर्श नागरिक तैयार करना है। नारायण साहू ने आगे बताया की शिक्षा के माध्यम से हम विभिन्न क्षेत्रों में अपने पेशेवर जीवन की योजना बना सकते हैं और अपनी क्षमताओं को स्वरूपित कर सकते हैं लेकिन संस्कार के साथ शिक्षा में योग्यता और पात्रता सफल जीवन के लिए जरूरी है और तभी एक व्यक्ति आदर्श जीवन जी सकता है। विश्वविधालय के पूर्व में छात्र रहे डॉ सुमीत वर्तमान में महाविद्यालय में अतिथि शिक्षक के द्वारा अपने अनुभव साझा किए गये और कृषि में रोजगार की जनकारी दी गई। पूर्व में छात्र रहे डॉ. कृष्णा गुप्ता के द्वारा भी अपने विधयार्थी जीवन के प्रेरणादायक अनुभव साझा किया गया। इस अवसर पर महाविद्यालय के विभिन्न कक्षा के छात्राओं मंथन मण्डल, कुक्षि खुशबू मींज, अंकित मण्डल, प्रीति संगिले, खुशबू बंजर, अमितेश नाग, गरिमा, के द्वारा गीत, भाषण, कविता के माध्यम से खूबसूरत सांस्कृतिक प्रस्तुतियां भी दी गई। स्थापना दिवस समारोह में कृषि महाविद्यालय के समस्त स्टाफ डॉ.अनिल दिव्य सहायक प्राध्यापक डॉ. कृष्णा गुप्ता, डॉ. सुमित, डॉ. नवनीत ध्रूवे, उपस्थित रहें एवं छात्र छात्रा उपस्थित रहे तथा उत्साह के साथ कार्यक्रम आयोजित किया गया। इस कार्यक्रम का संचालन अंगद राज बग्गा एवं कीर्ति साहू के द्वारा किया गया और रश्मि बघेल के द्वारा कार्यक्रम का आभार व्यक्त किया गया।
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