आने-जाने के लिए तय करनी पड़ती है 20 किमी दूरी, लोकसभा चुनाव का ग्रामीण करेंगे बहिष्कार
शशी रंजन सिंह
सूरजपुर (ट्रैक सी.जी. जिला ब्यूरो चीफ) :–सूरजपुर जिले के ग्राम पंचायत करंजी के ग्रामीणों ने लोकसभा चुनाव का बहिष्कार करने का फैसला लिया है। करंजी रेलवे स्टेशन के पास आवागमन के लिए अब तक रेलवे ने क्रॉसिंग अंडर ब्रिज का निर्माण नहीं किया है। ग्रामीण अंडर ब्रिज के निर्माण का काफी सालों से मांग कर रहे हैं। सोमवार को ग्रामीणों ने निर्वाचन कार्यालय पहुंच मांगों को पूरा करने के लिए ज्ञापन दिया।
दरअसल, जिला मुख्यालय से ग्राम पंचायत करंजी नमदगिरी रूनियाडीह से होकर सोहागपुर जाने वाले मार्ग पर लगभग 12 किमी दूरी पर स्थित है। जहां की कुल आबादी लगभग 3000 है। इसमें किसान लगभग 95 प्रतिशत हैं। ये किसान मात्र अपने कृषि कार्य करके आय प्राप्त कर अपने परिवार का भरण-पोषण करते है।
रेल के चपेट में आ जाते हैं मवेशी
यहां के किसानों की 50 प्रतिशत भूमि रेलवे लाइन के दूसरे तरफ अर्थात ग्राम झुमरपारा भटगांव की ओर जाने वाले सड़क के उत्तर की ओर स्थित है। किसान रेलवे लाइन पार करके अपने कृषि कार्य के लिए जाते हैं। वहीं मवेशी लाने ले जाने में रेलवे लाइन पार करने में किसानों को काफी असुविधा होती है। किसान खेत में आते-जाते समय रेल के चपेट में आने से अपने मवेशी का जान गंवा देते हैं।
20 किमी की दूरी करनी पड़ती है तय
किसानों को अपने ट्रैक्टर से फसल लाने के लिए 20 किमी की दूरी तय करनी पड़ती है। रेलवे लाइन के नीचे पुलिया नहीं होने के कारण उन्हें ग्राम झुमरपारा, नावापारा, राई, दतिमा, खरसुरा से होते हुए लगभग 20 किमी की दूरी तय कर लाना पड़ता है।
केन्द्र सरकार और राज्य सरकार नहीं दे रही है ध्यान
ग्रामीणों का कहना है कि केन्द्र सरकार और राज्य सरकार देश के विकास के लिए एक गावं से दूसरे गावं को जोड़ने के लिए आए दिन सड़क और पुलिया का निर्माण करा रही है लेकिन ग्राम करंजी के किसानों के कृषि कार्य के लिए रेलवे लाइन के नीचे एक पुलिया (अंडर ब्रिज) का निर्माण न राज्य सरकार और न ही केन्द्र सरकार की तरफ से किया जा सका है।
मांग पूरी तो लोकसभा चुनाव का बहिष्कार
करंजी रेलवे लाइन के नीचे एक पुल की मांग के लिए कई बार रेलवे के उच्च अधिकारियों को आवेदन पत्र दे कर अपनी समस्या से अवगत कराया, लेकिन आज तक रेलवे और सरकार की ओर से कोई भी ध्यान नहीं दिया गया। अब गांव वालों का कहना है कि उनकी मांग पूरी नहीं होती है तो वह लोकसभा चुनाव का बहिष्कार करेंगे।