भोपालपटनम जिले में 19 देवगुड़ी निर्माण किये बिना 56 लाख की राशि डकार ली गईं । भ्र्ष्टाचार का यह आरोप विधायक विक्रम मण्डावी, बीजापुर कलेक्टर राजेंद्र कटारा और सहायक आयुक्त मश्राम पर लगा है। पत्रवार्ता कर रहे युवा आयोग के पूर्व सदस्य अजय सिंह का कहना है किविधायक विक्रम मण्डावी की शह पर कलेक्टर , सहायक आयुक्त और कथित ठेकेदार ने देवगुडी निर्माण में जमकर भ्र्ष्टाचार किया। भ्र्ष्टाचार की व्यूहरचना में पहले पंचायत से उनके अधिकार छीने गए। हालाँकि मामला उजागर होने के बाद प्रशासन ने सख्ती दिखाई जरूर। शिकायत सही पाए जाने पर 2 करोड़ 92 लाख की वसूली की गई, लेकिन 19 देवगुड़ी के 56 लाख की वसूली नही हुई।अजय के मुताबिक प्रशासन से वे पूछना चाहते है 56 लाख कहाँ गए।अगर देवगुडी पर खर्च हुए तो देवगुडी कहाँ बने?अजय का आरोप है कि देवगुडी बने नही, 56 लाख रुपये विधायक, कलेक्टर, सहायक आयुक्त और ठेकेदार की जेब मे गए।अजय के मुताबिक पूरे प्रकरण कोलेकर वे हाईकोर्ट भी गए थे। बहुत जल्द मामले में उनकी तरफ से जनहित याचिका दायर की जाएगी। *ये है मामला* -बीजापुर में 3 करोड़ 49 लाख 20 हजार की लागत से 117 देवगुड़ी बनने थे। भ्र्ष्टाचार को अंजाम पहले सहायक आयुक्त को निर्माण एजेंसी बनाया गया था। जिसमे अफसर ने ठेकेदार के साथ मिलकर बिना निर्माण के एकमुश्त बड़ी रकम जारी करवा दी। लेकिन बाद में शिकायत सही पाए जाने पर लगभग 2 करोड़ 92 लाख की वसूली की गई। और पुनः ग्राम पंचायतों को एजेंसी बनाया गया, बाबजूद 56 लाख पर प्रशासन की बोलती बंद है। 56 लाख की जानकारी उन्हें आरटीआई से मिली।
भोपालपटनम जिले में 19 देवगुड़ी निर्माण किये बिना 56 लाख की राशि डकार ली गईं।
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